कांग्रेस सरकार को पेट्रोल - डीजल के दामों पर घेरने वाली भाजपा आज चार वर्षों में बढ़ती कीमतों पर चुप्पी क्यों साधे बैठी है।
पेट्रोल, डीजल की दरों में बढोतरी से हर प्रकार की वस्तुओं के दाम स्वतः ही बढ जाते है। भाजपा सरकार ने विद्ययुत दरों में गत समय 37 प्रतिशत की अप्रत्याषित वृद्वि की है तथा गत वर्ष पानी की दरों में 17 प्रतिशत की वृद्वि की थी। इन दरों में प्रतिवर्ष 10 प्रतिशत वृद्वि करने का प्रावधान भी लागू कर दिया। इससे आम उपभोक्ताओं पर अप्रत्याशित रूप से आर्थिक भार पड रहा है। सरकार से जनता अपेक्षा करती है कि पेट्रोल डीजल को कीमतों में कमी लाये।